‘तुलनात्मक राजनीति की रूपरेखा’ का उद्देश्य विश्वविद्यालय स्तर के छात्र-छात्राओं को तुलनात्मक राजनीति-विश्लेषण की इन नवीनतम प्रवृत्तियों से परिचित कराना है। इसके अंतर्गत तुलनात्मक राजनीति-विश्लेषण के सैद्धांतिक ढांचे की व्याख्या करते हुए उदारवादी, समाजवादी और विकासशील देशों की राजनीतिक प्रणालियों का सामाजिक-आर्थिक विश्लेषण प्रस्तुत किया गया है। इसमें तुलनात्मक राजनीति-विश्लेषण के स्वरूप और विकास की चर्चा करते हुए संस्थात्मक उपागम और प्रणाली-विश्लेषण की व्याख्या की गई है। राजनीतिक अर्थ-व्यवस्था उपागम का वेिचन करते हुए उदारवादी और मार्क्सवादी दष्टिकोणों को स्पष्ट किया गया है। उदारवादी प्रणालियों में ब्रिटिश संसदीय प्रणाली और अमरीकी अध्यक्षीय प्रणाली के राजनीतिक ढांचों का विवरण देते हुए इनके सामाजिक-आर्थिक आधार की जांच की गई है। समाजवादी प्रणालियों में राजनीतिक प्रक्रिया के विशेष लक्षणों की पहचान करके सोवियत संघ के पतन के कारणों पर प्रकाश डाला गया है। सोवियत संघ और जनवादी चीन के विकास-मार्गों की विस्तृत समीक्षा की गई है। विकासशील देशों में राजनीतिक अस्थिरता के कारणों और परिणामों पर विचार किया गया है; एकदलीय प्रणाली के उदय और ह्रास की जांच की गई है; अल्पविकास की प्रकृति और कारणों के बारे में उदारवादी और मार्क्सवादी विश्लेषण का सारांश दिया गया है; नव-उपनिवेशवाद के समकालीन रूपों का सर्वेक्षण किया गया है; और संजातीय तनावों के विश्लेषण के लिए विकास दृष्टिकोण और पराश्रितता-दृष्टिकोण की मान्यताओं का विवेचन किया गया है। अंत में ‘पारिभाषिक शब्दावली’ के अंतर्गत महत्त्वपूर्ण पारिभाषिक शब्दों की व्याख्या की गई है। शासन-प्रणालियों के विवरण को यथासंभव संक्षेप में देकर यथार्थ राजनीति के सामाजिक-आर्थिक विश्लेषण पर विशेष ध्यान दिया गया है।