Main hi Kyun: मैं ही क्यूँ
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- Synopsis
- 'मैं ही क्यों' में विभिन्न भावनात्मक कहानियों का समावेश है, जिसमें मन की विविध भावनाओं को स्वर दिया गया है। परिस्थितियों के वश कितनी मजबूर होती है स्त्री, मन की गहन गुफाओं में कितने सपने पलते हैं, अधूरे रह जाते टूट जाते हैं? स्त्री टूटती है परिस्थितियों से, दुगनी ऊर्जावान हो खड़ी होती है अपनी पूरी जिजीविषा के साथ। 'मैं ही क्यों', 'वारिस' जैसी कहानियों का कथ्य है, तो खर्रा पुरुष विमर्श पर आधारित है। युवाओं के गुस्से, उनकी मजबूरी पर आधारित कथाएँ हैं तथा करोना काल की स्थितियों पर रणबांकुरे दस्तकें जैसी भावनात्मक कहानियों का समावेश है। इस समय ने मानव की मजबूरियों और उसकी जिजीविषा को परखा है। यह सिद्ध किया है परिस्थिति कितनी भी भयावह क्यों न हो मानव की जिजीविषा सर्वोपरि है विभिन्न स्थितियों, सामाजिक ऐतिहासिक कहानियों का मेल है यह संग्रह।
- Copyright:
- 2023
Book Details
- Book Quality:
- Excellent
- Book Size:
- 123 Pages
- Publisher:
- Flydreams Publications
- Date of Addition:
- 08/28/24
- Copyrighted By:
- Dr. Krishna Shrivastava
- Adult content:
- No
- Language:
- Hindi
- Has Image Descriptions:
- Yes
- Categories:
- Self-Help
- Submitted By:
- Bookshare Staff
- Usage Restrictions:
- This is a copyrighted book.