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Kurukshetra January 2022: कुरूक्षेत्र जनवरी 2022

by Publications Division

कुरुक्षेत्र जनवरी 2022 हिंदी में प्रकाशित होने वाली एक मासिक पत्रिका है। पत्रिका ग्रामीण पुनर्निर्माण और ग्रामीण लोकतंत्र के सभी पहलुओं के लिए समर्पित है। पत्रिका में ग्रामीण विकास पर शिक्षाप्रद और सूचनात्मक लेख हैं और यह विद्वानों, शिक्षाविदों और सिविल सेवाओं और अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले छात्रों के लिए उपयोगी है।

Kurukshetra July 2022: कुरुक्षेत्र जुलाई 2022

by Publications Division

जल संसाधन प्रबंधन के संबंध में जागरूकता की सख्त आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए, कुरुक्षेत्र के इस जुलाई 2022 के विशेष अंक का विषय जल संसाधन है।

Kurukshetra June 2022: कुरुक्षेत्र जून 2022

by Publications Division

कुरुक्षेत्र जून 2022 पत्रिका का संस्करण ग्रामीण विकास पर केंद्रित है। पत्रिका में प्रमुख बिंदु ग्रामीण पर्यटन, भारत में सांस्कृतिक पर्यटन का विकास हैं। पत्रिका भारत के विभिन्न हिस्सों में पर्यटकों के आकर्षण पर प्रकाश डालती है।

Kurukshetra March 2022: कुरूक्षेत्र मार्च 2022

by Publications Division

कुरुक्षेत्र मार्च 2022 हिंदी में प्रकाशित होने वाली एक मासिक पत्रिका है। पत्रिका ग्रामीण पुनर्निर्माण और ग्रामीण लोकतंत्र के सभी पहलुओं के लिए समर्पित है। पत्रिका में ग्रामीण विकास पर शिक्षाप्रद और सूचनात्मक लेख हैं और यह विद्वानों, शिक्षाविदों और सिविल सेवाओं और अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले छात्रों के लिए उपयोगी है।

Kurukshetra May 2022: कुरूक्षेत्र मई 2022

by Publications Division

कुरुक्षेत्र हिंदी मई 2022 ग्रामीण विकास को समर्पित "ग्रामीण सम्पर्क" विशेष मासिक पत्रिका

Kurukshetra November 2022: कुरुक्षेत्र नवंबर 2022

by Publications Division

कुरुक्षेत्र नवंबर 2022 पत्रिका का संस्करण ग्रामीण विकास को समर्पित है। पत्रिका में प्रमुख बिंदु विज्ञान और तकनीक हैं।

Kurukshetra October 2022: कुरुक्षेत्र अक्टूबर 2022

by Publications Division

कुरुक्षेत्र अक्टूबर 2022 पत्रिका का संस्करण ग्रामीण विकास को समर्पित है। पत्रिका में प्रमुख बिंदु कृषि उद्यमिता हैं।

Kurukshetra Saptember 2022: कुरुक्षेत्र सितंबर २०२२

by Publications Division

कुरुक्षेत्र सितंबर 2022 पत्रिका का संस्करण ग्रामीण विकास को समर्पित है। पत्रिका में प्रमुख बिंदु जनजातीय जीवन एवं संस्कृति हैं।

Lekhashastra Alabhakari Sansthayen Evam Sajhedaree Khate class 12 - NCERT - 23: लेखाशास्त्र अलाभकारी संस्थाएँ एवं साझेदारी खाते १२वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

लेखाशास्त्र अलाभकारी संस्थाएँ एवं साझेदारी खाते 12 वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक हिंदी भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पाठपुस्तक में चार अध्याय दिये गये है, जिसमे हर अध्याय के विवरण कि व्याख्या कि गई है। इस पाठपुस्तक में साझेदारी लेखांकन-आधारभूत अवधारणाएँ, साझेदारी फर्म का पुनर्गठनः साझेदार का प्रवेश, साझेदारी फर्म का पुनर्गठन–साझेदार की सेवानिवृत्ति/मृत्यु और साझेदारी फर्म का विघटन आदी जैसे विषयों पर चर्चा की गई है।

Lekhashastra Vittiya Lekhankan Bhag 1 class 11 - NCERT - 23: लेखाशास्त्र वित्तीय लेखांकन भाग-१ ११वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

लेखाशास्त्र वित्तीय लेखांकन भाग 1 11वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक हिंदी भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में इस पाठपुस्तक में सात अध्याय दिये गये है, जिसमे हर अध्याय के विवरण कि व्याख्या कि गई है। इस पुस्तक में लेखांकन-एक परिचय, लेखांकन के सैद्धांतिक आधार, लेन-देनों का अभिलेखन–1, लेन-देनों का अभिलेखन–2, बैंक समाधान विवरण, तलपट एवं अशुद्धियों का शोधन और ह्रास, प्रावधान और संचय आदि के बारे में जानकारी दि गई है।

Lekhashastra Vittiya Lekhankan Bhag 2 class 11 - NCERT - 23: लेखाशास्त्र वित्तीय लेखांकन भाग-२ ११वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

लेखाशास्त्र वित्तीय लेखांकन भाग 2 11वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक हिंदी भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में इस पाठपुस्तक में पाँच अध्याय दिये गये है, जिसमे हर अध्याय के विवरण कि व्याख्या कि गई है । इस पुस्तक में वित्तीय विवरण 1, वित्तीय विवरण 2, अपूर्ण अभिलेखों से खाते, लेखांकन में कम्प्यूटर का अनुप्रयोग और कम्प्यूटर लेखांकन प्रणाली आदि के बारे में जानकारी दि गई है।

Loktantrik Rajniti Bhag-2 class 10 - NCERT - 23: लोकतांत्रिक राजनीति भाग-२ १०वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Ncert

This book is prescribed for the student of class 10. This book is about the Indian Constitution and Polity.

Loktantrik Rajniti class 10 - Himachal Pradesh Board: लोकतांत्रिक राजनीति कक्षा १० - लोकतांत्रिक राजनीति कक्षा १० - हिमाचल प्रदेश बोर्ड

by Himachal Pradesh Board of School Education - Dharamshala

हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड, धर्मशाला द्वारा प्रकाशित कक्षा 10 के लिए "सामाजिक विज्ञान लोकतांत्रिक राजनीति" का डिजिटल संस्करण, 2013 से 2022 तक की विभिन्न संस्करणों और पुनर्मुद्रितियों को शामिल करता है। इसका सारांश पाठ्यक्रम और शिक्षण प्रक्रिया के माध्यम से शिक्षकों और छात्रों के बीच एक सेतु के रूप में काम करता है। यह मूल्यांकन, संबोधन, और अच्छी तरह से प्रस्तुत सामग्री की महत्वता पर जोर देता है। यह "राष्ट्रीय पाठ्यक्रम निर्देशिका 2005" के प्रेरणा से लिखा गया है और लोकतंत्र के विभिन्न पहलुओं को छात्रों को परिचित कराने का उद्देश्य रखता है। यह किताब अपनी कथाओं, चित्रों, पहेलियों और कार्टूनों के माध्यम से विद्यार्थियों से हेल-मेल करती है। इस बार दृश्य सामग्री बढ़ा दी गई है और 'प्लस बाक्स' के नाम से एक नयी चीज़ जोड़ी गई है। 'इस किताब का उपयोग ऐसे करें' शीर्षक के अंतर्गत सभी नयी पुरानी विशेषताओं का ज़िक्र किया गया है। इसे ज़रूर पढ़ें। सबसे बड़ी बात यह है कि यह पुस्तक आपको सीख या उपदेश देने की कोशिश नहीं करती। यह आपसे बातचीत करना चाहती है। आप भी मानेंगे कि लोकतंत्र के बारे में सोचने का यही लोकतांत्रिक तरीका है।

Loktantrik Rajniti class 9 - Himachal Pradesh Board: लोकतांत्रिक राजनीति कक्षा 9 - हिमाचल प्रदेश बोर्ड

by Himachal Pradesh Board of School Education - Dharamshala

हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड, धर्मशाला द्वारा प्रकाशित कक्षा 9 के लिए "सामाजिक विज्ञान लोकतांत्रिक राजनीति" का डिजिटल संस्करण, 2013 से 2022 तक की विभिन्न संस्करणों और पुनर्मुद्रितियों को शामिल करता है। इसका सारांश पाठ्यक्रम और शिक्षण प्रक्रिया के माध्यम से शिक्षकों और छात्रों के बीच एक सेतु के रूप में काम करता है। यह मूल्यांकन, संबोधन, और अच्छी तरह से प्रस्तुत सामग्री की महत्वता पर जोर देता है। यह "राष्ट्रीय पाठ्यक्रम निर्देशिका 2005" के प्रेरणा से लिखा गया है और लोकतंत्र के विभिन्न पहलुओं को छात्रों को परिचित कराने का उद्देश्य रखता है। यह शिक्षकों से प्रतिक्रिया प्राप्त करने को प्रोत्साहित करता है, और छात्रों के बीच गहन विचार और सक्रिय भागीदारी को बढ़ावा देता है। सरकारी स्कूलों में पाठ्यपुस्तकों का मुफ्त वितरण और शिक्षा और सामाजिक उन्नति के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को उजागर करते हुए, इसका समापन एक पत्र सहित होता है जिसमें शिक्षकों और माता-पिता को संवाद किया गया है, जिसमें नागरिक शास्त्र पाठ्यक्रम में परिवर्तनों का वर्णन किया गया है और पाठ्यपुस्तक निर्माण के सहयोगी प्रयास का जिक्र किया गया है।

Main Mrityu Sikhata Hun: मैं मृत्यु सिखाता हूं

by Osho

ओशो कहते हैं – ‘मैं मृत्‍यु सिखाता हूं। लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि मैं जीवन का विरोधी हूं।’ उनके लिए जीवन और मृत्‍यु के भय से त्रस्‍त लोगों ने भाग-भागकर जीवन के पलड़े में घुसना और उसी में सवार हो जाना अपना लक्ष्‍य बना लिया। नतीजा यह हुआ कि जीवन का पल फिर निसर्ग को उस संतुलन को ठीक करने के लिए आगे आना होता है इससे आपको मृत्‍यु और अधिक भयकारी लगने लगती है। मृत्‍यु रहस्‍यमय हो जाती है। मृत्‍यु के इसी रहस्‍य को यदि मनुष्‍य समझ ले तो जीवन सफल हो जाए। जीवन के मोह से चिपटना कम हो जाए तो अपराध कम हों। मृत्‍यु से बचने के लिए मनुष्‍य ने क्‍या-क्‍या अपराध किए है। इसे अगर जान लिया जाए तो जीवन और मृत्‍यु का पलड़ा बराबर लगने लगे। इसलिए जब ओशो कहते हैं कि ‘मैं मृत्‍यु सिखाता हूं’ तो लगता है जीवन का सच्‍चा दर्शन तो इस व्‍यक्ति ने पकड़ रखा है, उसी के नजदीक, उसी के विचारों के करीब आपको यह पुस्‍तक ले जाती है। जीवन को सहज, आनंद, मुक्ति और स्‍वच्‍छंदता के साथ जीना है तो इसके लिए आपको मृत्‍यु को जानकर उसके रहस्‍य को समझकर ही चलना होगा। मृत्‍यु को जानना ही जीवन का मर्म पाना है। मृत्‍यु के घर से होकर ही आप सदैव जीवित रहते हैं। उसका आलिंगन जीवन का चरम लक्ष्‍य बना लेने पर मृत्‍यु हार जाती है। इसी दृष्टि हार जाती है। इसी दृष्टि से ओशो की यह पुस्‍तक अर्थवान है।

Manav Bhugol Ke Mul Siddhant class 12 - NCERT - 23: मानव भूगोल के मूल सिद्धांत १२वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

मानव भूगोल के मूल सिद्धांत कक्षा 12 वीं का पुस्तक हिंदी भाषा में राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने प्रकाशित किया गया है । इस पाठ्यपुस्तक का मूल उद्देश्य है राष्ट्रीय पाठ्यचर्चा की रूपरेखा 2005 के नए मार्गदर्शक सिद्धांतों को क्रियान्वित करना । पाठ्यपुस्तक मे मानव भूगोल प्रकृति एवं विषय क्षेत्र, विश्व जनसंख्या वितरण, घनत्व और वृद्धि, जनसंख्या संघटन, मानव विकास, प्राथमिक क्रियाएँ, द्वितीयक क्रियाएँ, तृतीयक और चतुर्थ क्रियाकलाप, परिवहन एवं संचार, अंतर्राष्ट्रीय व्यापार और मानव बस्ती आदि के बारें में बताया गया है।

Manav Paristhitiki Evan Parivaar Vigyan Bhag 1 Class 12 - NCERT - 23: मानव पारिस्थितिकी एवं परिवार विज्ञान भाग-१ १२वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

मानव पारिस्थितिकी एवं परिवार विज्ञान (एच.ई.एफ.एस.) विषय जो अब तक ‘गृह विज्ञान’ के रूप में जाना जाता है, इसकी पाठ्यपुस्तकें एन.सी.ई.आर.टी. की राष्ट्रीय पाठ्यचर्या की रूपरेखा 2005 के दृष्टिकोण और सिद्धांतों के आधार पर विकसित की गई हैं। विश्व में, गृह विज्ञान का क्षेत्र नए नामों से जाना जाता है परंतु इसमें मूलरूप से पाँच क्षेत्र सम्मिलित हैं, जिनके नाम हैं- भोजन एवं पोषण, मानव विकास एवं परिवार अध्ययन, वस्त्र एवं परिधान, संसाधन प्रबंधन और संचार एवं विस्तारा इनमें से प्रत्येक क्षेत्र या विशेषज्ञता प्राप्त (जैसा कि विभिन्न कॉलेजों और विश्वविद्यालयों में निर्दिष्ट है) व्यक्तियों, परिवारों, उद्योग और समाज की बढ़ती ज़रूरतों को ध्यान में रख, बढ़ते हुए दायरे के साथ विकसित और परिपक्व हुआ है। परिणामस्वरूप, इन क्षेत्रों में रोजगार बाजार विकसित करने के उद्देश्य से नए आकर्षण विकसित किए गए हैं और बहुत से विश्वविद्यालयों में इनकी वर्तमान प्रतिष्ठा और कार्य क्षेत्र को बेहतर तरीके से दर्शाने के लिए इन्हें नए नाम दिए गए हैं।

Manav Paristhitiki Evan Parivaar Vigyan Bhag 2 class 12 - NCERT - 23: मानव पारिस्थितिकी एवं परिवार विज्ञान भाग-२ १२वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

मानव पारिस्थितिकी एवं परिवार विज्ञान (एच.ई.एफ.एस.) विषय जो अब तक ‘गृह विज्ञान’ के रूप में जाना जाता है, इसकी पाठ्यपुस्तकें एन.सी.ई.आर.टी. की राष्ट्रीय पाठ्यचर्या की रूपरेखा 2005 के दृष्टिकोण और सिद्धांतों के आधार पर विकसित की गई हैं। विश्व में, गृह विज्ञान का क्षेत्र नए नामों से जाना जाता है परंतु इसमें मूलरूप से पाँच क्षेत्र सम्मिलित हैं, जिनके नाम हैं- भोजन एवं पोषण, मानव विकास एवं परिवार अध्ययन, वस्त्र एवं परिधान, संसाधन प्रबंधन और संचार एवं विस्तारा इनमें से प्रत्येक क्षेत्र या विशेषज्ञता प्राप्त (जैसा कि विभिन्न कॉलेजों और विश्वविद्यालयों में निर्दिष्ट है) व्यक्तियों, परिवारों, उद्योग और समाज की बढ़ती ज़रूरतों को ध्यान में रख, बढ़ते हुए दायरे के साथ विकसित और परिपक्व हुआ है। परिणामस्वरूप, इन क्षेत्रों में रोजगार बाजार विकसित करने के उद्देश्य से नए आकर्षण विकसित किए गए हैं और बहुत से विश्वविद्यालयों में इनकी वर्तमान प्रतिष्ठा और कार्य क्षेत्र को बेहतर तरीके से दर्शाने के लिए इन्हें नए नाम दिए गए हैं।

Manovigyan class 12 - NCERT - 23: मनोविज्ञान १२वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

मनोविज्ञान 12वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक हिंदी भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पाठ्यपुस्तक में सात अध्याय हैं ये उन विषयों से संबंधित हैं जो मनोविज्ञान में प्रवेश-पाठ्यक्रम के लिए आवश्यक समझे जाते हैं। अध्याय में सम्मिलित की जाने वाली विषयवस्तु की रूपरेखा अध्याय की एक समग्र दृष्टि प्रस्तुत करती है। प्रत्येक अध्याय के प्रारंभ में दिया गया परिचय विद्यार्थियों के पूर्ववर्ती ज्ञान को बढ़ाने के लिए एक सूचनापरक एवं चुनौतीपूर्ण प्रारंभ प्रदान करता है। प्रत्येक अध्याय में मुख्य विषयवस्तु उदाहरणों, दृष्टांतों, सारणियों, क्रियाकलापों एवं बॉक्सों से भरा पड़ा है जो संप्रत्ययों को अच्छी तरह समझने में विद्यार्थियों की सहायता करेगा। प्रत्येक अध्याय के अंत में प्रस्तुत सारांश, जो कुछ पढ़ा अथवा पढ़ाया गया है, उसको पुनर्बलित एवं सुदृढ़ करता है। अध्याय के अंत में समीक्षात्मक प्रश्नों से समझ, अनुप्रयोग तथा कौशल को बढ़ावा मिलेगा और उच्च स्तरीय चिंतन में वृद्धि होगी। प्रत्येक अध्याय के अंत में दिए गए परियोजना विचार का उद्देश्य विद्यार्थियों को क्षेत्र-कार्यों तथा अनुभव प्राप्त करने के लिए जागृत करना है।

Mera Desh Mere Log: मेरा देश मेरे लोग

by Amit Khan

डॉक्टर मानिक शाह ने बेपनाह दौलत कमाने के लिये चीन जाने का फैसला किया, लेकिन वह फैसला डॉक्टर मानिक शाह को हद से ज्यादा महंगा पड़ा। कैदी बनकर रह गया मानिक शाह चीन में। उसे अपना देश, अपने लोग याद आने लगे। वो हिन्दुस्तान पहुँचने के लिये त्राहि-त्राहि कर उठा। और तब उसे हिन्दुस्तान वापस लाने के लिये कमांडर करण सक्सेना चीन जा पहुँचा। फिर जो कुछ हुआ, वो दहला देने वाला था। एक के बाद एक दिमाग की नसों को झंझोड़ देने वाली ऐसी हैरतअंगेज योजनायें, जो आपने पहले कभी हिन्दी के जासूसी उपन्यासों में नहीं पढ़ी होंगी। देशभक्ति के ज़ज्बे से भरा एक ऐसा शानदार उपन्यास- जो सिर्फ कहानी नहीं है, सिर्फ काल्पनिक दास्तान नहीं है बल्कि एक चिंगारी है। ऐसी ज़बरदस्त चिंगारी, जो हर गैरतमंद और वतनपरस्त हिन्दुस्तानी के दिल में लगकर शोला बन जाना चाहती है।

Paschatya Pratinidhi Rajnitik Vicharak: पश्चत्य प्रतिनिधि राजनीति विचारक

by Dr B. L. Fadia Dr Kuldeep Fadia

राजनीति विज्ञान की यह पुस्तक विभिन्न विश्वविद्यालयों की बी. ए. (तृतीय वर्ष) कक्षा के लिए है। इस मे कुल 180 पेज है। इस पुस्तक के आखरी मे वस्तुनिष्ठ प्रश्न है जिसमे गत वर्ष परीक्षाओं में पूछे गए प्रश्न उत्तर सहित दिए गए है।

Post Box Number 203 Nala Sopara: पोस्ट बॉक्स नं. 203 नाला सोपारा

by Chitra Mudgal

हिन्दी साहित्य जगत में अपनी अप्रतिम जगह बना चुकी वरिष्ठ कथाकार चित्रा मुद्गल का यह उपन्यास विनोद उर्फ बिन्नी उर्फ बिमली के बहाने हमारे समाज में लम्बे समय से चली आ रही उस मानसिकता का विरोध हैजो मनुष्य को मनुष्य समझने से बचती रही है। जी नहींयह अमीरगरीब का पुराना टोटका नहींमहज शारीरिक कमी के चलते किसी इंसान को असामाजिक बना देने की क्रूर विडम्बना है। अपने ही घर से निकाल दिए गए विनोद की मर्मांतक पीड़ा उसके अपनी बा को लिखे पत्रों में इतनी गहराई से उजागर हुई है कि पाठक खुद यह सोचने पर विवश हो जाता है कि क्या शब्द बदल देने भर से अवमानना समाप्त हो सकती है गलियों की गाली हिजड़ाको किन्नरकह देने भर से क्या देह के नासूर छिटक सकते हैं। परिवार के बीच से छिटककर नारकीय जीवन जीने को विवश किए जाने वाले ये बीच के लोगआखिर मनुष्य क्यों नहीं माने जाते। आजजबकि ऐसे असंख्य लोगों को समाज में स्वीकृति मिलने लगी हैहमारी संसद भी इस संदर्भ में पुरातनपंथी नहीं रही हैक्या यह उम्मीद नहीं की जानी चाहिए कि परिवार व समाज अपनी सोच के मकड़जाल से बाहर निकल आएंगेठीक उसी तरह जैसे इस उपन्यास के मुख्य चरित्र की मां वंदना बेन शाह अपने बेटे से घर वापसी की अपील करते हुए एक विस्तृत माफीनामा अखबारों में छपवाती है। यह अपील एक व्यक्ति भर की न रहकरसमूचे समाज की बन जाएयही वस्तुत: कथाकार की मूल मंशा है। एक एक्टिविस्ट रचनाकारकैसे अपनी रचना में मूल सरोकार के प्रति समर्पित हो सकता हैयह इस अनोखे और पठनीय उपन्यास की भाषा बताती है। यहां समाज की हर सतह उघड़ती है और एक नयी रचनात्मक सतह बनने को आतुर है।

Pratiyogita Darpan Hindi April 2022: प्रतियोगिता दर्पण हिंदी अप्रैल २०२२

by Pratiyogita Darpan

विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए उपयोगी बनाने की दृष्टि से इस अंक में अनेक महत्वपूर्ण विषयों पर सारगर्भित एवं विश्लेषणात्मक लेख दिए गए हैं. इनमें से कुछ लेख इस प्रकार हैं-भारत का विदेश व्यापारः अप्रैल-दिसम्बर, 2021, चीन के नए भूमि सीमा कानून का विरोध क्यों?, भारत-इजरायल सम्बन्धों के तीस वर्ष, झुलसते जंगल और बिगड़ता पर्यावरणीय संतुलन, नींद का महत्व-नींद न आने के कारण एवं नींद लाने के उपाय, कृषि एवं ग्रामीण विकास हेतु संघीय बजट 2022-23 के प्रावधान. पत्रिका के सर्वाधिक महत्वपूर्ण भाग में विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के चयनित हल प्रश्न-पत्र आवश्यक व्याख्या एवं संकेतों के साथ दिए गए हैं. हल प्रश्न-पत्र-सिविल सेवा मुख्य परीक्षा, 2021, सामान्य अध्ययन-II, राष्ट्रीय रक्षा अकादमी/नौसेना अकादमी परीक्षा, 2021, उत्तर प्रदेश प्रशिक्षित स्नातक शिक्षक चयन परीक्षा, 2021. ऐच्छिक विषय-अर्थशास्त्र, वाणिज्य-उत्तर प्रदेश प्रवक्ता (PGT) भर्ती परीक्षा, 2021. पत्रिका के इस अंक में मध्य प्रदेश पीएससी राज्य सेवा/वन सेवा प्रारम्भिक परीक्षा, 2021 के लिए बिन्दुवार अध्ययन सामग्री तथा मॉडल हल प्रश्न विशेष रूप से दिए गए हैं.

Pratiyogita Darpan Hindi August 2022: प्रतियोगिता दर्पण हिंदी अगस्त 2022

by Pratiyogita Darpan

‘प्रतियोगिता दर्पण’ अगस्त 2022 पत्रिका के प्रस्तुत अंक को आकांक्षाओं के अनुरूप अधिक-से-अधिक उपयोगी बनाने का प्रयास किया गया है, इस पत्रिका में विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए उपयोगी बनाने की दृष्टि से इस अंक में अनेक महत्वपूर्ण विषयों पर सारगर्भित एवं विश्लेषणात्मक लेख दिए गए हैं. इनमें से कुछ लेख इस प्रकार हैं- भारत के राष्ट्रपति का निर्वाचन, भारत के विशेष आर्थिक क्षेत्रों के निष्पादन का एक अवलोकन, राजस्थान में अकाल एवं जल प्रबन्धन, भोजन की बर्बादी पर लगे अंकुश, भारत और संयुक्त अरब अमीरात के सम्बन्धों में नया आयाम, भारत-जापान सम्बन्ध. पत्रिका के सर्वाधिक महत्वपूर्ण भाग में विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के चयनित हल प्रश्न-पत्र आवश्यक व्याख्या एवं संकेतों के साथ दिए गए हैं. इनमें से कुछ प्रश्न-पत्र इस प्रकार हैं- हल प्रश्न-पत्र- यू. जी. सी. - नेट / जे. आर.एफ. परीक्षा दिसम्बर 2020 व जून 2021 शिक्षण एवं शोध अभियोग्यता, सिविल सर्विसेज (प्रा.) परीक्षा, 2022 सामान्य अध्ययन- II, उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (प्रा.) परीक्षा, 2022 सामान्य अध्ययन - I. ऐच्छिक विषय- समाजशास्त्र, भूगोल यू. जी. सी. - नेट / जे. आर. एफ. परीक्षा, (दिसम्बर 2020 व जून 2021).

Pratiyogita Darpan Hindi February 2022: प्रतियोगिता दर्पण हिंदी फरवरी 2022

by Pratiyogita Darpan

‘प्रतियोगिता दर्पण’ 2022 पत्रिका के प्रस्तुत अंक को आकांक्षाओं के अनुरूप अधिक-से-अधिक उपयोगी बनाने का प्रयास किया गया है, प्रकाशन से सम्बन्धित सभी लोगों के सामूहिक प्रयास एवं सहयोग से यह अंक इतना अधिक परीक्षोपयोगी बन पाया है। विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए उपयोगी बनाने की दृष्टि से इस अंक में अनेक महत्वपूर्ण विषयों पर सारगर्भित एवं विश्लेषणात्मक लेख दिए गए हैं। इनमें से कुछ लेख इस प्रकार हैं- विश्व एनर्जी मानचित्र और भारत की तेल रणनीति, क्या जलवायु परिवर्तन चुनौती का जवाब कॉप 26 है, अफगानिस्तान संकट में संयुक्त राष्ट्र संघ की भूमिका, सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 का प्रभाव एवं चुनौतियाँ, टिकाऊ खेती और पर्यावरण सुरक्षा। पत्रिका के सर्वाधिक महत्वपूर्ण भाग में विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के चयनित हल प्रश्न-पत्र आवश्यक व्याख्या एवं संकेतों के साथ दिए गए हैं।

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